मैं सदा हँसता रहा हूँ इसलिए ज़िन्दा रहा हूँ हार कैसे मान लूँ मैं आप का चेला रहा हूँ बेवफ़ा [...]
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मैं सदा हँसता रहा हूँ
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अन्न का भंडार
अन्न का भंडार फूलों की बहार नव कोपलें फूट रही नव वर्ष का संचार खेतों की फसल खुली तिजोरी बेईमान [...] More -
गीत-चँदा ओ चँदा
गीत - चँदा ओ चँदा गीत - चँदा ओ चँदा चँदा ओ चँदा, देर न करना, संग चाँदनी के, दर्शन [...] More -
लगा रहे कलम
लगा रहे कलम हो रहा कृत्रिम गर्भाधान पैदा करने उन्नत बीज - फल वर्ण संकर के जानवर परिणाम अधिक उत्पादन [...] More -
आँखों में अश्रु प्रवाह लिए
आँखों में अश्रु प्रवाह लिए । दिल में वियोग की आह लिए ।। वह सरहद को प्रस्थान किया, दायित्व बोध [...] More -
भारत माँ की लाज रखी है
भारत माँ की लाज रखी है माँओं की कुर्बानी ने बच्चा जनकर जवाँ बनाना, साधारण सी बात नहीं । जाग [...] More -
ले जाऊँगा मैं एक दिन सूरज को जेब में
ले जाऊँगा मैं एक दिन सूरज को जेब में करवट बदलना रात भर तारे शुमार कर -इरशाद अज़ीज़ इरशाद अज़ीज़ [...] More -
दिल से दुनिया निकाल कर आना
दिल से दुनिया निकाल कर आना ऐसा कोई कमाल कर आना -इरशाद अज़ीज़ इरशाद अज़ीज़ जी की दुनिया पर शायरी [...] More -
जीने का फलसफा यूँ सिखाया हुसैन ने
जीने का फलसफा यूँ सिखाया हुसैन ने मरना भी ज़िन्दगी है बताया हुसैन ने इक रौशनी सी फैलती जाती थी [...] More