हाँ तुम्हारे दिल में भी ये आग जलनी चाहिए अब हमारे देश की सूरत बदलनी चाहिए दुश्मनों की चाल को नाकाम कर दे जो सदा देश पर आयी बलाएं देख टलनी चाहिए महफिलों में मैं अकेला ही यहाँ रहने लगा अब यहाँ मेरी कमी भी यार खलनी चाहिए हो रहा बदहाल क्यूँ ये देश मेरा [...]
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हाँ तुम्हारे दिल में भी
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पंछी कलरव कर रहे
पंछी कलरव कर रहे भंवर करें गुंजार कूक रही कोयल सनम ! भटकाये कचनार मेरे हिय आँगन हँसे जब जब ये मधुमास तेरी चाहत की सनम ! बढ़ती जाती प्यास कभी कुनकुनी धूप में खुद को कर आबाद बाँह पकड़ मधुमास की कर उससे संवाद मधुमय जीवन हो गया जब आया मधुमास देख धरा को [...] More -
बाधा से घबरा नहीं
बाधा से घबरा नहीं करता रह प्रयास मन में रख विष्वास तू रच देगा इतिहास अपने बल पर वो बड़ा उसने पायी ठोर तू काहे को जल रहा काहे करता शोर शाम हुई पंछी गये अपने अपने नीड़ नीड़ बना जिस चीड़ पर भाग्यवान वो चीड़ कदम कदम पर झूठ का लगा हुआ दरबार अपनी [...] More -
मातृ दिवस पर माँ पर चन्द दोहे
माँ आँगन की धूप है, माँ आँगन की छाँव माँ ही तो खेती सनम! घर आँगन की नाव कैसे कैसे दुःख सहे, माने कभी न हार माँ की ममता का नहीं, भाई कोई पार यादें माँ की आज भी, डाले एक पड़ाव ममता के अहसास का, जिसमें बहे बहाव माँ है तो संवेदना, जीवित है [...] More -
स्वारथ के आँगन बसा
स्वारथ के आँगन बसा जब से ये इन्सान भूल गया व्यक्तित्व की अपनी वो पहचान बड़ा आदमी क्या बना बदली उसकी चाल अब उसके आँगन लगे चमचों की चौपाल सोच समझ कर चाल चल पूरा रख तू ध्यान कौन यहाँ अपना सनम रख इसकी पहचान कुछ सपने लेकर चला जीवन भर मैं साथ कर न [...] More -
अपने को आकाश रख
अपने को आकाश रख, रख आँखें तू चार सबसे तू सम्बन्ध रख कैसे होगी हार कोयल कूके डाल पर हँसता फूल पलास जल्दी घर आ साजना तड़फाये मधुमास गेहूँ की बाली हँसी हँसने लगा पलास महुआ पी मदमा रहा मौसम ये मधुमास पिली सरसों हँस रही झूमा आज पलास देख धरा दुल्हन बनी बौराया मधुमास [...] More -
जाते-जाते जब हुई
जाते-जाते जब हुई उससे आँखें चार पतझर भी लगने लगा मुझको सावन यार कभी फूल बन दिन हँसें कभी बने ये खार ये कब होते एक से जाने सब संसार एक सहारा क्या मिला मुझको तेरा मीत इसीलिए तो मिल रही हर पल मुझको जीत सारा सिस्टम सड़ रहा रिसने लगा मवाद किसको जाकर हम [...] More -
मैं करूँगा इंतज़ार
मैं करूँगा इंतज़ार हो सके तो लौट आ दिल हुआ है बेक़रार हो सके तो लौट आ जो लगे इल्ज़ाम नाम पर मिरे सब झूठ हैं मैं नहीं हूँ गुनहगार हो सके तो लौट आ रूठ कर यूँ बे हिसाब हो रहा है क्यूँ ख़फ़ा भूल जा अब जीत हार हो सके तो लौट आ [...] More -
एक इशारा कर गया
एक इशारा कर गया आने का वो आज इन्तज़ार का बज रहा तब से हिय में साज देख ! गुड़िया सुला रही गुड्डे को दे थाप बचपन घर में हँस रहा, नाच रहे माँ-बाप फूलों की खुशबू हँसी मुर्गो ने दी बाँग सूरज किरणों से भरे देख ! धरा की माँग भरने हैं तुझको अगर [...] More