गुजरे जो पल उन्हें सदा देते। प्यार के शोलो को हवा देते। क्या खता हो गई बताते गर, खुद को भी कोई हम सजा देते। नेकिया कर अगर बता देते लोग तब नुक्स भी गिना देते। लफ़्ज़ होठों पे जब नही आए, अश्क आँखो से तुम बहा देते। मुस्कुराने की जब वजह पुछी जख्म दिल के जरा दिखा देते। जगने का फायदा भी तब होता, जब आप ओरो को जगा देते। – पी एल बामनिया पी एल बामनिया जी की गज़ल पी एल बामनिया जी की रचनाएँ [simple-author-box] अगर आपको यह रचना पसंद आयी हो तो इसे शेयर करें
गुजरे जो पल
गुजरे जो पल उन्हें सदा देते।
प्यार के शोलो को हवा देते।
क्या खता हो गई बताते गर,
खुद को भी कोई हम सजा देते।
नेकिया कर अगर बता देते
लोग तब नुक्स भी गिना देते।
लफ़्ज़ होठों पे जब नही आए,
अश्क आँखो से तुम बहा देते।
मुस्कुराने की जब वजह पुछी
जख्म दिल के जरा दिखा देते।
जगने का फायदा भी तब होता,
जब आप ओरो को जगा देते।
– पी एल बामनिया
पी एल बामनिया जी की गज़ल
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